हिमाचल की Top 10 खबरें ! 10 मई
1) अब फलों के साथ फूल भी बनेंगे किसानों-बागवानों की आय का जरिया
हिमाचल प्रदेश के किसानों व बागवानों के लिए फलों के साथ अब फूल भी आय का एक जरिया बनेंगे। विश्व बैंक पोषित बागवानी विकास परियोजना के अंतर्गत हिमाचल सरकार किसानों व बागवानों को आर्किड फूल की खेती के लिए सहायता उपलब्ध करवाएगी। ऐसे में कम भूमि पर अधिक उत्पादन से किसानों व बागवानों की अधिक आय होगी। हिमाचल प्रदेश में आर्किड फूल की व्यावसायिक खेती हेतु बागवानी अधिकारियों का दल केंद्रीय अनुसंधान केंद्र आर्किड सिक्किम भेजा है।
किसानों और बागवानों को किया जाएगा जागरूक
आगामी 12 मई तक यह दल आर्डिक की खेती और विपणन को लेकर प्रशिक्षण प्राप्त करेगा। इस दौरान लौटने के बाद किसानों और बागवानों को जागरूक करेगा। बता दें सिक्किम में बड़े पैमाने पर आर्किड के फूल की व्यावसायिक खेती हो रही है। सिक्किम एवं हिमाचल प्रदेश की जलवायु एक जैसी है। जिसके चलते हिमाचल में आर्किड की खेती किसानों व बागवानों के लिए लाभदायक सिद्ध हो सकती है। बता दें आर्किड फूल की स्टिक एवं गमले सहित पौधे की बाजार में काफी मांग है।
किसानों व बागवानों की आय में होगी बढोतरी
एक पौधा 250 से लेकर 300 रुपये में बिकता है। नेट या शेड हाउस में इसे व्यावसायिक तौर पर उगाया जा सकता है। इस प्रकार की खेती के लिए प्रशिक्षण बहुत जरूरी है। मुख्य संसदीय सचिव बागवानी के तकनीकी विशेषज्ञ डॉ. कुशाल सिंह मेहता ने बताया कि किसानों व बागवानों की आय में बढोतरी के लक्ष्य से प्रदेश में सेब की सघन खेती के बाद फूलों की खेती से अतिरिक्त आय का विकल्प देने की योजना है। सिक्किम में प्रशिक्षण लेने के बाद बागवानी विभाग के अधिकारी खंड स्तर पर जागरूकता शिविरों का आयोजन करेगा। जिसके तहत किसानों व बागवानों को आर्किड फूल की खेती को लेकर जागरूक किया जाएगा।
यह अधिकारी ले रहे प्रशिक्षण
विश्व बैंक पोषित बागवानी विकास परियोजना के अंतर्गत बागवानी अधिकारियों का एक दल 8-12 मई तक केंद्रीय अनुसंधान केंद्र आर्किड फूल सिक्किम में प्रशिक्षण ले रहा है। जिसमें नोडल अधिकारी डॉ. देश राज शर्मा, डॉ. शमशेर सिंह डेरू, विषय विशेषज्ञ उद्यान डॉ. रंजन शर्मा, डॉ. सुदर्शना नेगी, डॉ. सुरिंद्र राणा, डॉ. हितेंद्र पटियाल, डॉ. अंजना जस्टा, डॉ. राज नेगी, डॉ. कुशाल सिंह मेहता, डॉ. प्रदीप हिमराल, डॉ. अमित कुमार, डॉ. संजय कुमार, डॉ. भूपेंद्र सिंह, डॉ. अजय रघुवंशी, डॉ. रितु शर्मा, राजेश परिहार, डॉ. भीष्म सिंह, डॉ. मनमोहन मेहता तथा डॉ. राकेश कुमार शिविर में भाग ले रहे हैं।
2) नैंसी शर्मा बनी नर्सिंग ऑफिसर, एम्स विजयपुर में देगी अपनी सेवाएं
बिलासपुर : हिमाचल के जिला बिलासपुर की नैंसी शर्मा का चयन बतौर नर्सिंग ऑफिसर हुआ है। नैंसी अब एम्स विजयपुर जम्मू में सेवांए देंगी। अक्तूबर 2022 में नॉरसेट की परीक्षा पास करने के पश्चात नैंसी का इस पद के लिए चयन हुआ है। बता दें नैंसी शर्मा ग्राम पंचायत धार टटोह के गांव जेरख की रहने वाली है। नैंसी की इस उपलब्धि पर घर में खुशी का महौल है।
देशभर में रहा 525वां रैंक
नैंसी शर्मा ने दसवीं तक की पढ़ाई बैरी बिलासपुर,12वीं की पढ़ाई कोटा राजस्थान से प्राप्त की है। जिसके बाद उन्होंने कोल वैली नर्सिंग कॉलेज से बीएससी नर्सिंग की पढ़ाई पूरी की। साथ ही वह अन्य परीक्षाओं की तैयारी भी करती रही। चार साल चंडीगढ़ के मैक्स अस्पताल में सेवाएं भी दी हैं। नैंसी ने सितंबर 2022 में नॉरसेट की परीक्षा दी और अक्तूबर में इसका परिणाम घोषित हुआ। इस राष्ट्रीय स्तर की परीक्षा में नैंसी शर्मा ने 97.75 प्रतिशत अंक प्राप्त कर 525 वां रैंक हासिल किया है, उनका चयन अब एम्स विजयपुर के लिए बतौर नर्सिंग ऑफिसर हुआ है।
परिजनों व शिक्षकों को दिया उपलब्धि का श्रेय
नैंसी के पिता रतन लाल शर्मा शिक्षा विभाग से प्रधानाचार्य के पद से सेवानिवृत्त हुए हैं, जबकि माता पुष्पा शर्मा गृहिणी हैं। नैंसी के पिता ने बताया कि बेटी के नर्सिंग ऑफिसर चयनित होने से परिजनों में खुशी है और इलाके के लोग उसकी इस उपलब्धि पर गर्व महसूस कर रहे हैं। नैंसी के घर में बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है। नैंसी ने इस उपलब्धि का श्रेय अपने शिक्षकों व परिजनों को दिया है।
3) मानव भारती विवि में उत्तर पुस्तिकाओं के साथ हुई छेड़छाड़
सोलन :मानव भारती विश्वविद्यालय में फर्जी डिग्री के बाद अब एक और बड़ा खुलासा हुआ है। फोरेंसिक लैब जुन्गा को भेजे गए फर्जी डिग्रियों के नमूने व उत्तर पुस्तिकाओं की लिखावट की जांच की, जिसके बाद रिपोर्ट पुलिस एसआईटी को सौंप दी है। पुलिस का दावा है कि विवि में उत्तर पुस्तिकाओं के साथ छेड़छाड़ हुई है। जिसका खुलासा होने पर पुलिस एसआईटी ने मानव भारती विश्वविद्यालय के कर्मचारियों को पूछताछ हेतु बुलाया है। आगामी सप्ताह इससे संबंधित कोर्ट में फाइनल चार्जशीट पेश की जा सकती है।
12 राज्यों में बेची गई फर्जी डिग्रियां
पुलिस एसआईटी ने फर्जी डिग्री मामले में विश्वविद्यालय के मालिक राजकुमार राणा सहित 20 लोगों के उपर निशाना साधा है। मानव भारती विश्वविद्यालय के करीब 46 हजार फर्जी डिग्रियों के आवंटन के आरोप के मामले में अभियोजन विभाग ने चालान पेश करने को मंजूरी दी थी। जिसके बाद एसआईटी को फोरेंसिक लैब जुन्गा भेजे गए सैंपल की रिपोर्ट का इंतजार था। आरोप है कि संस्थान के कहने पर एजेंट फर्जी डिग्री दिलाने का सौदा करते थे। इसके अलावा जांच में पाया गया है कि 12 राज्यों में फर्जी डिग्रियां बेची गईं हैं।
वर्ष 2010 से चल रहा था डिग्रियां बेचने का फर्जीवाड़ा
इनमें महाराष्ट्र, जम्मू-कश्मीर, बिहार, दिल्ली, गुजरात, , हरियाणा, तमिलनाडु, केरल, पंजाब, उत्तर प्रदेश, बंगलूरू व हिमाचल शामिल हैं। डिग्रियां बेचने का यह फर्जीवाड़ा वर्ष 2010 से चल रहा था। शैक्षणिक सत्र पूरा होते ही एजेंट डिग्रियों का सौदा कर देते थे। जिसके लिए नकद लेनदेन किया जाता था।
बिना अनुमति के करवा दिए कोर्स
हाईकोर्ट की ओर से गठित टीम ने जांच में विश्वविद्यालय की केवल 2,600 डिग्रियां ही सही पाई गईं हैं। साथ ही विश्वविद्यालय ने ऐसे कोर्स भी करवाए जिनकी विवि प्रबंधन के पास अनुमति नहीं थी।
4) छात्रा से यौन उत्पीड़न मामले में आरोपी शिक्षक गिरफ़्तार
सिरमौर :हिमाचल के जिला सिरमौर के विद्यालय परिसर में छात्रा से यौन उत्पीड़न का संगीन मामला पेश आया है। मामले में पुलिस ने राजकीय आदर्श कन्या वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला पांवटा साहिब में भौतिक विज्ञान के प्रवक्ता को गिरफ्तार कर पोक्सो एक्ट के तहत मामला दर्ज कर लिया है। साथ ही शिक्षक के खिलाफ आगामी कार्रवाही शुरू कर दी है।
पीड़ित छात्रा के बयान किए दर्ज
जानकारी के अनुसार पांवटा साहिब के स्कूल में छात्रा से अध्यापक द्वारा यौन शोषण किया जा रहा था। मामले की संगीनता को देखते हुए प्रधानाचार्य द्वारा पुलिस से मामले की गहनता से जांच करने का आग्रह किया गया है। प्रधानाचार्य ने इस संबंध में गत 5 मई को पुलिस में शिकायत दर्ज कारवाई थी। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार करने से पहले पीड़ित छात्रा के बयान दर्ज किये हैं।
बड़ी संख्या में किया था स्कूली छात्राओं का यौन उत्पीड़न
छात्रा से यौन उत्पीड़न की शिकायत के बाद लैंगिक उत्पीड़न निवारण समिति ने भी इस मामले की जांच की है। इसके अलावा यह बात भी सामने आई है कि आरोपी लेक्चरर द्वारा बड़ी संख्या में स्कूली छात्राओं का यौन उत्पीड़न किया जाता था।
छात्रा पर लैब में रुकने का डालता था दबाब
शिक्षक पर आरोप है कि वह छात्रा को लैब में ही रोक लेता था। साथ ही छुट्टी के बाद भी छात्रा पर लैब में रुकने का दबाब डालता था। उच्चशिक्षा विभाग के उपनिदेशक कर्मचंद ने कहा कि मामला दर्ज होने के बाद स्कूल लेक्चरर राकेश कुमार को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। मामले से सबंधित सभी जानकारी निदेशालय को भेज दी गई है।
लिया जाएगा पुलिस रिमांड पर
मामले की पुष्टि करते हुए पांवटा साहिब के डीएसपी मानविंदर ठाकुर ने बताया कि स्कूल लेक्चरर को बीती रात गिरफ्तार किया गया है। उन्होंने कहा कि रिमांड पर लेकर आरोपी से संपूर्ण पूछताछ की जाएगी। पुलिस गंभीरता से मामले की जांच में जुटी हुई है।
5) हिमाचल में अगले साल से अपनाई जाएगी ई-स्टांप प्रणाली, होगी इतनी बचत
शिमला :हिमाचल प्रदेश में आगामी वर्ष से पूर्णतः ई-स्टाम्प प्रणाली से स्टाम्प पेपर की बिक्री सुनिश्चित की जाएगी। हिमाचल प्रदेश के अधिकृत स्टाम्प विक्रेताओं को एक वर्ष में भौतिक ई-स्टाम्प पेपर से ई-स्टाम्प प्रणाली अपनाने की समय सीमा निश्चित की गई है। ई-स्टाम्पिंग प्रणाली को पूर्ण रूप से अपनाने से प्रदेश के राजस्व में भौतिक स्टाम्प पेपरों की छपाई पर प्रतिवर्ष खर्च हो रहे 30 से 50 करोड़ रुपये की बचत होगी। हिमाचल सरकार ने भौतिक स्टाम्प पेपरों की छपाई पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाने व ई-मोड के माध्यम से ही स्टाम्प ड्यूटी एकत्रित करने का फैसला लिया है।
स्टाम्प पेपर विक्रय की अधिकतम सीमा 20,000 रुपये प्रति दिन
एक साल की अवधि के दौरान फिलहाल दोनों प्रणालियां चलन में रहेगी। पहले से छपे स्टाम्प पेपर का इस्तेमाल करने हेतु विक्रेताओं को 1 अप्रैल 2023 से 31 मार्च 2024 तक एक साल का समय दिया गया है। इसके बाद पूरी तरह से केवल ई-स्टाम्प का ही उपयोग किया जाएगा। हिमाचल सरकार ने ई-स्टाम्प पेपर के लिए स्टाम्प विक्रेताओं को अधिकृत एकत्रीकरण केन्द्रों के रूप में अधिकृत किया जाएगा। उपभोक्ताओं को लाभान्वित करने हेतु सेंट्रल रिकॉर्ड कीपिंग एजेंसी स्टॉक होल्डिंग कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड के पोर्टल पर ई-स्टाम्प तैयार किए जा सकेंगे। स्टाम्प विक्रेता को न्यूनतम कमीशन अदा कर इस पोर्टल के माध्यम से ई-स्टाम्प तैयार करने हेतु अधिकृत किया जाएगा। वर्तमान में स्टाम्प विक्रेताओं के लिए स्टाम्प पेपर विक्रय की अधिकतम सीमा 20,000 रुपये प्रति दिन है। ई-स्टाम्प प्रणाली अपनाने से यह सीमा बढ़ाकर 2 लाख रुपये प्रतिदिन हो जाएगी। ऐसे में स्टाम्प वेंडर भी लाभान्वित होंगे।
सरकार व आम लोगों के लिए होगी लाभदायक सिद्ध
मुख्यमंत्री सुक्खू का कहना है कि हिमाचल में ई-स्टाम्प प्रणाली वैसे तो वर्ष 2011 में शुरू की गई थी, लेकिन प्रदेश सरकार ने अब इस ई-मोड को पूर्णतः अपनाने का फैसला लिया है। स्टाम्प पेपर के लिए छपाई लागत 500 रुपए मूल्य तक के स्टाम्प पेपर के लिए 20 रुपए, 1000 से 5000 रुपए मूल्य के स्टाम्प पेपर हेतु 22 रुपए और 10000 से 25000 रुपये मूल्य के 23 रुपये की लागत आती है। ऐसे में ई-स्टाम्प प्रणाली प्रदेश सरकार व आम लोगों दोनों के लिए ही लाभदायक सिद्ध होगी।
ई-स्टाम्प मॉडल का भी किया अध्ययन
हिमाचल सरकार ने पंजाब के ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों की तीन तहसीलों में ई-स्टाम्प मॉडल का भी अध्ययन किया है। इस प्रणाली के इस्तेमाल से यहां की व्यापार में सुगमता में सुधार आया है। साथ ही धोखाधड़ी या पुनः उपयोग के मामलों पर अंकुश लगने से राजस्व में भी वृद्धि हुई है। इसके अतिरिक्त यदि मूल ई-स्टाम्प प्रमाण पत्र गुम हो जाता है तो ई-स्टाम्प प्रमाण-पत्र की अनुलिपि तैयार करने का कोई प्रावधान नहीं है।
6) पंथाघाटी में एक दर्जन अवैध कब्जों पर चला पीला पंजा
शिमला : पहाड़ों की राजधानी शिमला में एनएच पर सड़क किनारे अवैध कब्जों को हटाने की मुहिम लगातार जारी है। एनएचएआई ने पंथाघाटी में एक दर्जन से ज्यादा अवैध कब्जे हटाने का कार्य किया है। इस दौरान कई लोग कार्रवाई के विरध में उतरे, लेकिन पुलिस की उपस्थिति में प्रशासन की कार्रवाई जारी रही। जेसीबी की सहायता से एनएच किनारे बने एक टैक्सी बूथ के कब्जे को भी तोड़ा गया।
क्षेत्र में मचा रहा हड़कंप
इसी के तहत एक निजी अस्पताल की एनएच से सटी गुमटी और मकान के गेट बनाने हेतु बनाए कब्जे भी हटाए गए। साथ ही मेकेनिक व सब्जी विक्रेताओं के किए कब्जों को भी हटाया गया। बता दें उच्च न्यायालय के आदेश पर एचएचएआई ने मंगलवार को दोपहर करीब 12:00 बजे शिमला-सोलन एनएच पर पंथाघाटी क्षेत्र में अतिक्रमण हटाने का कार्य किया है। ऐसे में क्षेत्र में हड़कंप मचा रहा है।
नोटिस के बावजूद भी नहीं हटाया अतिक्रमण
बता दें एनएचएआई ने भट्ठाकुफर से पंथाघाटी एनएच तक नोटिस देकर लोगों को अवैध कब्जा हटाने के निर्देश दिए थे। इसके बावजूद कई लोगों ने अतिक्रमण नहीं हटाया था। एचएचएआई के इंजीनियर कुजंग हिशे नेगी ने कहा कि उच्च न्यायालय के आदेश अनुसार कब्जे हटाने शुरू कर दिए हैं।
7) पर्यटकों के लिए जल्द बहाल होगा मनाली-लेह सड़क मार्ग
मनाली:मनाली-सरचू-लेह मार्ग पर जल्द ही पर्यटकों के लिए बहाल होने जा रहा है। बुधवार को सड़क की स्थिति का जायजा लेने उपायुक्त लाहौल स्पीति राहुल कुमार व एसपी मयंक सहित डीडीएमए सहित बीआरओ की टीम बारालाचा रवाना हुई। जैसे ही डीसी राहुल कुमार का काफिला दारचा पहुंचा तो लेह जाने वाले लोगों ने उन्हें दारचा चैक पोस्ट में रोक लिया। इस दौरान उनसे घर जाने को अनुमति देने का आग्रह किया। लोगों का कहना है कि वे बहुत दिनों से मनाली में फंसे हुए हैं, अब मौसम ठीक हो गया है और सड़क भी बहाल हो गई है, तो उन्हें बारालाचा की तरफ से घर जाने की अनुमति दें।
उपायुक्त ने लिया सड़क की स्थिति का जायजा
मनाली सरचू लेह मार्ग पर्यटकों के लिए जल्दी ही बहाल हो जाएगा। जिला उपायुक्त राहुल कुमार ने बुधवार को एसपी मयंक के साथ सड़क की स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में रोड को बहाल कर दिया जाएगा।
लोगों की समस्याओं को सुना
जिला उपायुक्त ने लोगों की समस्याओं को ध्यान से सुनने के बाद कहा कि वह टीम के साथ परिस्थितियों का जायजा लेने बारालाचा दर्रे की तरफ जा रहे हैं। बारालाचा में दर्रे की परिस्थियां अनुकूल पाईं गई तो उक्त मार्ग पर जल्द ही वाहन दौड़ेंगे। साथ ही स्थानीय लोगों सहित पर्यटकों को भी जाने की अनुमति दी जाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि मौसम के पूर्वानुमान को देखते हुए 13 व 14 मई को हिमपात की आशंका है। ऐसे में लोग जल्दबाजी न करें और सभी परिस्थितियों के अनुकूल होने के बाद ही सफर पर निकलें। एसपी लाहौल स्पीति मयंक चौधरी ने कहा कि अगर हालात सामान्य पाए जाते हैं तो पुलिस जल्द ही सरचू में अपनी अस्थायी चौकी स्थापित करेगी। उन्होंने स्थानीय वाहन चालकों और लोगों से जल्दबाजी न करने का आग्रह किया है।
नवंबर में बंद हो गया था मार्ग
मनाली-लेह मार्ग हिमपात के चलते पिछले वर्ष नवंबर के पहले सप्ताह में बंद हो गया था। बीआरओ ने इस मार्ग को 26 मार्च को बहाल कर लिया था, लेकिन लगातार बर्फ़बारी का क्रम रहने से बहाली के डेढ़ महीने बाद भी वाहनों की आवाजाही शुरू नहीं हो पाई है। बीआरओ कमांडर कर्नल शबरिश वाचली का कहना है कि सरचू में अस्थायी चौकी स्थापित कर दी है। बारालाचा दर्रे में वाहनों की आवाजाही सुचारू रखने के हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं।
8) SIU टीम को मिली बड़ी सफलता, पकड़ी अवैध देशी शराब की भट्ठी
मंडी : हिमाचल प्रदेश में नशे के अवैध कारोबार में दिन-प्रतिदिन इजाफा हो रहा है। इसी बीच पुलिस भी नशे के खिलाफ अपने अभियान को तेज कर रही। इसी कड़ी में मंडी पुलिस की एसआईयू टीम के हाथ बड़ी सफलता हाथ लगी है। पुलिस ने मंडी एक गावं में दबिश देकर अवैध देशी शराब की भट्ठी को पकड़ने में सफलता प्राप्त की है। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाही आरंभ कर दी है।
आरोपी का मुख्य घर बैंक ने किया सील
जानकारी के अनुसार मंडी पुलिस की स्पेशल इन्वेस्टिगेशन यूनिट की टीम ने तहसील मंडी के दूदर गांव में दबिश देकर अवैध देशी शराब की भट्ठी पकड़ी है। यह भट्ठी दूदर गांव के निवासी महेन्द्र सिंह पुत्र नागू राम ने चलाई थी। साथ ही पकड़े गए आरोपी महेन्द्र सिंह का घर दूटर में ही है, लेकिन इसके मुख्य घर को बैंक ने सील किया है। महेंद्र सिंह ने अपने घर से लगभग 50 मीटर की दूरी पर टीनपोश कमरा बनाकर उसमें यह भट्ठी स्थापित की थी, खुद भी इसी में रहता है।
मौके से 5 लीटर तैयार शराब बरामद
एएसपी मंडी सागर चंद्र ने मामले की पुष्टि करते हुए बताया कि पुलिस ने दबिश के दौरान एक भट्टी, बाल्टियां, 03 पतीले, डिस्टीलेशन के लिए प्रयोग की जाने वाली प्लेट, पाईप व 5 लीटर तैयार शराब बरामद की है। आरोपी के खिलाफ हिमाचल प्रदेश आबकारी अधिनियम की धारा 39 के तहत मामला दर्ज कर आगामी कार्यवाही आरंभ कर दी गई है।
9) टला बड़ा हादसा, ट्रक में लदे बिजली के पोल से जा टकराई HRTC बस
ऊना हिमाचल के जिला ऊना में मंगलवार देर रात एचआरटीसी बस हादसे का शिकार हो गई। हादसे में बस बिजली के पोल से लदे ट्रक से जा टकराई। गनीमत यह रही कि किसी को भी जानी नुक्सान नहीं हुआ है। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच आरंभ कर दी है।
आगे का हिस्सा बुरी तरह क्षतिग्रस्त
जानकारी के अनुसार जिला मुख्यालय के साथ लगते रक्कड़ कालोनी में बिजली विभाग के कार्यालय के समीप जोगिंदरनगर से गुरुग्राम जा रही एचआरटीसी की बस बिजली विभाग के ट्रक में लदे बिजली के पोल से जा टकराई। हालांकि बस में सवार सभी यात्री गण, चालक व परिचालक सुरक्षित हैं। हादसे में बस का आगे का हिस्सा बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया है।
इस कारण पेश आया यह हादसा
सूचना मिलते ही ऊना पुलिस की टीम घटनास्थल पर पहुंची। पुलिस ने मौके पर मौजूद लोगों के बयान दर्ज कर जांच आरंभ कर दी है। एचआरटीसी के चालक शाम लाल ने बताया कि जब उनकी बस रक्कड़ कालोनी के समीप पहुंची तो अचाबक बिजली विभाग के ट्रक में लदे पोल से टकरा गई। ट्रक में लोड किये गए सभी पोल ट्रक की बॉडी से बाहर निकले हुए थे और ट्रक के पीछे किसी तरह का संकेत नहीं लगाया हुआ था। जिसकी वजह से यह हादसा पेश आया है।
10) दो अलग-अलग मामलों में चरस सहित दो गिरफ्तार
कुल्लू :हिमाचल में नशा तस्करी का कारोबार लगातार फलता- फूलता जा रहा है। जिस पर काबू पाने के लिए प्रदेश पुलिस का अभियान लगातार जारी है। इसी के तहत कुल्लू पुलिस के हाथ बड़ी सफलता लगी है। पुलिस ने गश्त के दौरान दो अलग-अलग मामलों में पांच किलो से अधिक चरस बरामद करने में सफलता प्राप्त की है। पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार कर आगामी कार्रवाही आरंभ कर दी है।
5 किलो से अधिक चरस बरामद
जानकारी के अनुसार पुलिस चौकी मणिकर्ण की टीम ने गशत के दौरान शंगाना (मणिकर्ण) में विजय पांडे (20) पुत्र तपता बहादुर पांडे निवासी गावं गोरखाणी डाकघर खलगा जिला रूकम्म पशिचमी नेपाल हाल आवाद गांव पुलगा डाकघर वरशैणी के कब्जे से 5.299 किलोग्राम चरस बरामद की है। पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर आगामी कार्रवाही शुरू कर दी है।
नेपाल मूल के हैं दोनों आरोपी
दूसरे मामले में पुलिस टीम डुंखरा समीप नेचर रिज़ॉर्ट पर नाके पर थी। पुलिस वहां से गुजरने वाले वाहनों की चेकिंग कर रही थी। इसी दौरान HRTC बस HP18B 7106 की नियमानुसार चेकिंग की गई तो सतमान जाखरी ( 43) पुत्र केश जाखरी निवासी थवांग रोलपा रेवती आंचल, नेपाल के कब्जे से 494 ग्राम चरस बरामद की गई।
आरोपियों को लिया जाएगा पुलिस रिमांड पर
पुलिस ने दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर एनडीपीएस ऐक्ट के तहत मामला दर्ज कर आगामी कार्रवाही आरंभ कर दी है। दोनों आरोपियों को अदालत में पेश कर पुलिस रिमांड पर लिया जाएगा।